चलो एक पेड़ लगाए
गोलू,मोनू,पिंकी,चिंकी, गर्मी की छुट्टियों में अपने गांव गये थे सबो ने मिलकर एक दिन गांव से सटे पोखर घुमने गया पास जाकर देखा तो पोखर काफी कचड़ो से भरा हुआ था। सबों ने मिलकर पोखर की सफाई करने लगे और कचड़े को टोकरी में भर बाहर निकाला अब पोखर का पानी साफ दिखाई दे रहा था। शालू पोखर से सटे पेड़ और पडे पत्थरों पर अपने रंग ब्रुश से वहां का मनोरम दृश्य बनाने में व्यस्त थी। उधर चीकी पोखर किनारे लगे पेड़ पर चढ़कर चुनमुन चिड़िया के घोंसले को देखा और उसके घोंसले को रस्सियों से बांधकर मजबूत कर दिया साथ आए बच्चे पेड़ के नीचे बैठ कर गोलू मोनू पिंकी के इस सफाई अभियान को देख रहा था।
इसी बीच पिंकी साईकिल लिए पोखर के समीप आकर बोली अरे अरे तुम लोग इस पोखर में क्या कर रहे हो सभी बच्चों ने एक स्वर में बोला देखो ना दीदी इस नदी का पानी कितना गन्दा है इसमें रहने वाले सभी जीव कितने परेशान रहते होंगे, देखो दीदी उधर देखो मछली रानी अब कितने मजे से घुम रही है। चिंकी बोली हमने तो चुनमुन चिड़िया के घोंसले को रस्सियों से बांध कर मजबूत कर दिया और अब ये कटोरी उसके घोंसले में रख देता हूं ताकि उसके बच्चे साफ पानी पी सके। बच्चों के इस गतिविधि को चुनमुन चिड़िया की मां गांव में बने घरों के मुंडेर पर बैठी सबकुछ देख रही थी और मन ही मन बच्चों को धन्यवाद दे रही थी। पोखर के समीप खडा एक कुत्ता जिसका नाम था आस्कर बच्चों के इस नेक कार्य को देखकर काफी ख़ुश था अब उसे भी पोखर का पानी पीने में मजा आएगा, तभी पिंकी बोली चलो अब हम लोग घर चलते हैं।उधर गांव में बच्चों द्वारा किए गए इस सफाई अभियान की चर्चा धीरे-धीरे आग की तरह फ़ैल गई। गांव के प्रधान ने बच्चों से मिलकर उन्हें बधाई दिया और पूरे गांव वालों को यह भी संकल्प कराया गया कि स्वच्छता हमारे लिए बहुत जरूरी है साथ ही पर्यावरण को स्वच्छ बनाए रखने के लिए हमें पेड़ों की देखभाल भी करनी होगी तभी हमे स्वच्छ हवा और पानी मिल सकता है। आज के बाद हमारे गांव में किसी भी उत्सव पर एक पेड लगाने का काम करेंगे शादी विवाह मे आज के बाद उपहार के रुप में हमलोग एक पेड़ ही भेंट स्वरूप देंगे।
जय हिन्द
शंकर कुमार राम (स्नातक प्रक्षिशित)
मध्य विद्यालय मसदी पूर्व सुलतानगंज
भागलपुर, बिहार
चलो एक पेड़ लगाए फोटो संख्या 5
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